ईश्वर की पूजा

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ईश्वर की पूजा

मन को वश में करके प्रभु चरणों में लगाना बड़ा ही कठिन है। शुरुआत में तो मन इसके लिये तैयार ही नहीं होता है, लेकिन इसे मनाएं कैसे?

एक शिष्य थे, किन्तु उनका मन किसी भी भगवान की साधना में नहीं लगता था लेकिन साधना करने की इच्छा भी मन में थी।

वे गुरु के पास गये और कहा कि गुरुदेव! साधना में मन लगता नहीं और साधना करने का मन भी होता है। कोई ऐसी साधना बताएं जो मन भी लगे और साधना भी हो जाये।

गुरु ने कहा - तुम कल आना।

दूसरे दिन वह गुरु के पास पहुँचा, तो गुरु ने कहा - सामने रास्ते में कुत्ते के छोटे बच्चे हैं। उसमें से दो बच्चे उठा ले आओ और उनकी हफ्ता भर देखभाल करो।

गुरु के इस अजीब आदेश को सुनकर वह भक्त चकरा गया लेकिन क्या करे? गुरु का आदेश जो था।

वह 2 पिल्लों को पकड़ कर लाया, लेकिन जैसे ही छोड़ा वे उसी स्थान पर भाग गये। वह फिर से पकड़ कर लाया, लेकिन वे फिर भाग गए।

अब उसने उन्हें पकड़ लिया और दूध-रोटी खिलायी। अब वे पिल्ले उसके पास रमने लगे।

उसने हफ्ता भर उन पिल्लों की ऐसी सेवा यत्नपूर्वक की कि अब वे उसका साथ छोड़ नहीं रहे थे। वह जहां भी जाता, पिल्ले उसके पीछे-पीछे भागते। यह देखकर गुरु ने दूसरा आदेश दिया कि इन पिल्लों को भगा दो।

भक्त के लाख प्रयास के बाद भी वह पिल्ले नहीं भागे।

तब गुरु ने कहा - देखो बेटा! शुरुआत में ये बच्चे तुम्हारे पास रुकते नहीं थे, लेकिन जैसे ही तुमने उनके पास ज्यादा समय बिताया, ये तुम्हारे बिना रहने को तैयार नहीं हैं।

ठीक इसी प्रकार खुद जितना ज्यादा वक्त भगवान के पास बैठोगे, मन धीरे-धीरे भगवान की सुगंध, आनन्द से उनमें रमता जायेगा।

हम अक्सर चलती-फिरती पूजा करते हैं, तो भगवान में मन कैसे लगेगा?

जितनी ज्यादा देर ईश्वर के पास बैठोगे, उतना ही मन ईश्वर रस का मधुपान करेगा और एक दिन ऐसा आएगा कि उनके बिना आप रह नहीं पाओगे।

शिष्य को अपने मन को वश में करने का मर्म समझ में आ गया और वह गुरु आज्ञा से भजन सुमिरन करने चल दिया।

बिन गुरु ज्ञान कहां से पाऊँ?

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सरिता जैन

सेवानिवृत्त हिन्दी प्राध्यापिका

हिसार

🙏🙏🙏


विनम्र निवेदन

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धन्यवाद।

Comments

  1. अति सुन्दर एवं प्रेरणा दायक ।
    💐गुरू गोविन्द दोऊ खड़े काके लागूँ पाँय।बलिहारी गुरु आपने गोविन्द दियो बताय।💐

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  2. Koti koti pranam and dhanywad 🙏🏻🙏🏻🙏🏻🙏🏻

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